Superbet Chess Classic: गुकेश और प्रगनानंद ने अपनी-अपनी बाजियां ड्रा खेली

पीटीआई, बुखारेस्ट: विश्व चैंपियनशिप के चैलेंजर डी गुकेश ने सुपरबेट शतरंज क्लासिक के दूसरे दौर में रूस के इयान नेपोमनियाचची से कड़े मुकाबले में ड्रा खेला, जबकि एक अन्य भारतीय खिलाड़ी आर प्रगनानंद ने भी फ्रांस के मैक्सिम वाचियर लाग्रेव से अंक बांटे। अमेरिका के शीर्ष वरीयता प्राप्त फैबियानो कारुआना अपनी एक गलती के कारण हमवतन वेस्ली सो के विरुद्ध जीत दर्ज करने से चूक गए, जबकि फ्रांस के अलीरेजा फिरौजा ने उज्बेकिस्तान के नोडिरबेक अब्दुसत्तोरोव को हराया।हालैंड के अनीश गिरी इस टूर्नामेंट में सबसे कम रैंकिंग के खिलाड़ी रोमानिया के डेक बोगदान डैनियल के विरुद्ध अपेक्षित प्रदर्शन नहीं कर पाए और उन्हें अंक बांटने पड़े। डबल राउंड रोबिन वाले इस टूर्नामेंट में अभी सात दौर की बाजियां खेली जानी बाकी है तब गुकेश और कारुआना 1.5 अंकों के साथ संयुक्त रूप से बढ़त पर हैं। उनके बाद अलीरेजा, प्रगनानंद, गिरी, वेस्ली, वाचियर लाग्रेव और नेपोमनियाचची का नंबर आता है, जिनके एक-एक अंक हैं। डेक बोगदान डैनियल और अब्दुसत्तोरोव के आधा-आधा अंक हैं।ये भी पढ़ें: T20 World Cup 2024: मिलेगा नया चैंपियन या टीम इंडिया रचेगी इतिहास, रोहित ब्रिगेड इन दो दिग्‍गज टीमों के क्‍लब में बनाना चाहेगी जगह

June 29, 2024 02:08 UTC


1958 से आज तक डूब रहा दिल्ली का 'मिंटो', जानें मॉनसून पर मजाक बन गए ब्रिज की कहानी

हर बार की तरह दिल्ली के बारिश में डूबने की तस्वीर देश और दुनिया में दिखाई जा रही है. यह बरसात में दिल्ली के डूबने की क्लासिक तस्वीर है. क्लासिक इसलिए क्योंकि आजादी के बाद से यहीं की तस्वीरें दिल्ली के बारिश में डूबने की मुनादी करती हैं. कनॉट प्लेस को नई दिल्ली रेलवे स्टेशन और पुरानी दिल्ली के अजमेरी गेट की ओर से जोड़ने वाले विवेकानंद रोड को जोड़ने वाली इस मिंटो ब्रिज की कहानी बड़ी बदनसीब है. भारत की आजादी के बाद से ही मिंटो ब्रिज के नीचे बने अंडरपास को जलभराव की समस्या के लिए जाना जाता है.

Source:NDTV

June 28, 2024 23:46 UTC


NEET Paper Leak: 4 लाख में तय हुई थी राज की जगह परीक्षा देने की डील, सॉल्वर ने खोले MBBS छात्र के राज; एक्शन में पुलिस

पुलिस टीम ने उत्तरप्रदेश के प्रयागराज जिले में नैनी के अक्षयवट और करछना पहुंचकर अमर ज्योति अस्पताल में पहुंचकर पूछताछ की।जागरण संवाददाता, मुजफ्फरपुर/प्रयागराज। मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश के लिए आयोजित राष्ट्रीय पात्रता व प्रवेश परीक्षा (नीट) फर्जीवाड़ा में वांछित चल रहे एमबीबीएस छात्र ऋषभ उर्फ राज पांडेय की तलाश में गुरुवार को बिहार पुलिस ने एक बार फिर छापेमारी की।कर्मचारियों से राज पांडेय और उसके पिता डॉक्टर आरपी पांडेय के बारे में जानकारी लेते हुए संदिग्ध ठिकानों पर तलाश की गई, लेकिन कोई नहीं मिला।सॉल्वर गैंग ने राज से लिए 4 लाख रुपयेविदित हो कि मुजफ्फरपुर के मिठनपुरा में मालीघाट स्थित डीएवी को परीक्षा केंद्र बनाया गया था। वहां पर डॉक्टर आरपी पांडेय के बेटे राज पांडेय के स्थान पर परीक्षा दे रहा जोधपुर एम्स का छात्र हुकमा राम को पकड़ा गया था।उसने बयान दिया था कि उससे जोधपुर एम्स में सॉल्वर गैंग ने संपर्क कर राज पांडेय की जगह परीक्षा देने के लिए चार लाख रुपये नकद दिए थे। तब उसने एडमिट कार्ड पर तस्वीर बदलने से लेकर फर्जी आधार कार्ड बनाने तक फर्जीवाड़ा किया था।हुकमा को बिना कार्रवाई किए छोड़ा, तूल पकड़ने पर दर्ज हुई रिपोर्टहालांकि, मामले में पुलिस ने बिना कार्रवाई के ही हुकमा को छोड़ दिया था, लेकिन बाद में प्रकरण ने तूल पकड़ा तो अगले दिन रिपोर्ट दर्ज की गई।इसके बाद ही बिहार पुलिस ने राज पांडेय की तलाश में छापेमारी शुरू की। एक सप्ताह पहले भी पुलिस ने उत्तर प्रदेश के नैनी से लेकर करछना तक दबिश दी थी, लेकिन आरोपित गिरफ्त में नहीं आया था।नैनी पुलिस का कहना है कि वांछित राज पांडेय की गिरफ्तारी को बिहार से पुलिस आई थी। अस्पताल के प्रबंधक केके शुक्ला का कहना है कि बिहार पुलिस के द्वारा पूछताछ की गई है।सॉल्वर गैंग के संपर्क में कैसे आया राजपुलिस का कहना है कि पूछताछ में पता चला है कि नैनी थाना क्षेत्र के त्रिवेणीनगर मुक्ता विहार कॉलोनी निवासी डॉ. राजेश प्रसाद पांडेय का बेटा राज दिल्ली में रहकर एमबीबीएस की पढ़ाई करता है।आशंका जताई जा रही है कि दिल्ली में ही वह सॉल्वर गैंग के संपर्क में आया होगा और फिर अपने स्थान पर सॉल्वर को नीट में बैठाया होगा। अब उसकी गिरफ्तारी के बाद ही सॉल्वर से कनेक्शन सहित दूसरे राज सामने आएंगे।यह भी पढ़ें: NEET 2024 Case: बिहार EOU ने केंद्र को सौंपी नीट पेपर लीक की जांच रिपोर्ट, अध्‍ययन के बाद होगा एक्‍शनNeet Paper Leak 2024: नीट पेपर लीक मामले में अब तक क्या-क्या हुआ? कितने हुए गिरफ्तार, पढ़ें पूरी डिटेल

June 28, 2024 22:37 UTC


दिल्ली में जलभराव के बीच अयोध्या पर ये क्या बोल गए AAP सांसद संजय सिंह?

उन्होंने इस बात का जिक्र किया कि अयोध्या, जिसे भारतीय जनता पार्टी अपने विकास के लिए सराहती है, पहली बारिश भी नहीं झेल पाई।एएनआई, नई दिल्ली। आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने शुक्रवार को देश के विभिन्न हिस्सों में बारिश के बाद ढहते बुनियादी ढांचे को लेकर केंद्र पर तीखा हमला किया।गर्भगृह तक पहुंचा पानीसिंह ने कहा कि हम सभी ने देखा कि पहली बारिश के बाद ही अयोध्या में राम मंदिर से पानी निकलना शुरू हो गया। पानी गर्भगृह में घुस गया, जिससे मंदिर के मुख्य पुजारी नाराज हो गए। हमने अटल सेतु पुल की स्थिति देखी है। जबलपुर टर्मिनल ढह गया। बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे नष्ट हो गया।भाजपा के पीछे-पीछे चलता है भ्रष्टाचारकेंद्र सरकार ने जिस अयोध्या को विकास के लिए सराहा, वह पहली बारिश के बाद जलमग्न हो गई। दिल्ली एयरपोर्ट टर्मिनल-1 की छत गिरने की घटना बेहद शर्मनाक है, क्योंकि इसका उद्घाटन 10 मार्च को पीएम मोदी ने किया था। भ्रष्टाचार भाजपा के पीछे-पीछे चलता है।संजय सिंह ने और क्या कहा...संजय सिंह ने कहा कि हमारी सरकार दिल्ली में जलभराव को कम करने के लिए काम कर रही है। दिल्ली में जलभराव के बारे में मेयर शैली ओबेरॉय ने कहा कि स्थिति पिछली बार से कहीं बेहतर है। एक तरह से, यह मानसून की पहली बारिश है। आज सभी समस्याग्रस्त बिंदुओं की पहचान कर ली गई है। सभी विभाग और अधिकारी जमीनी स्तर पर काम कर रहे हैं और जलभराव से प्रभावित सभी स्थानों पर काम चल रहा है।कई हिस्सों में भारी जलभरावसंजय ने कहा कि दिल्ली के लोगों को आज के बाद ऐसी स्थिति का सामना नहीं करना पड़ेगा। इस बीच शुक्रवार की सुबह भारी बारिश ने राष्ट्रीय राजधानी में लंबे समय से चल रही गर्मी से राहत दिलाई, लेकिन बारिश के कारण शहर के कई हिस्सों में जलभराव हो गया, जिससे यातायात की आवाजाही और निवासियों और यात्रियों का सामान्य जीवन प्रभावित हुआ।शहर के कई हिस्सों में लोग जलभराव वाली सड़कों से गुजरे और भाजपा पार्षद रविंदर सिंह नेगी को विरोध जताने के लिए NH9 पर एक नाव चलाते देखा गया।यह भी पढ़ें- Heavy Rain in Delhi-Noida: बारिश से लबालब हुईं सड़कें, कई रूटों पर लगा भीषण जाम; हैरान कर देंगी दिल्ली-NCR की ये तस्वीरेंशहर में अब तक की सबसे अधिक बारिशभारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के अनुसार, शहर में सफदरजंग वेधशाला ने आज सुबह 8:30 बजे तक 228 मिमी बारिश दर्ज की। यह जून में 24 घंटे में दर्ज की गई दूसरी सबसे अधिक बारिश है। शहर में अब तक की सबसे अधिक बारिश 28 जून, 1936 को 235.5 मिमी दर्ज की गई थी।यह भी पढ़ें- IGI एयरपोर्ट टर्मिनल-1 हादसे पर सियासी घमासान, खरगे ने मोदी सरकार को घेरा; भाजपा ने दिया करारा जवाबउधर, इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर, टर्मिनल-1 की छत का एक हिस्सा ढह गया। दिल्ली अग्निशमन सेवा के अनुसार, आज सुबह लगभग 5:30 बजे हुई इस घटना में एक व्यक्ति की मौत हो गई और आठ लोग घायल हो गए।

June 28, 2024 21:17 UTC


Global carbon removal market could reach $100 billion/yr from 2030-35, report says

LONDON: The global market for carbon dioxide (CO2) removal credits could reach up to $100 billion a year between 2030 and 2035 from $2.7 billion last year if barriers to its growth are addressed, a report by management consultancy Oliver Wyman said on Thursday.Worsening climate change and inadequate efforts to cut emissions have led U.N. scientists to estimate billions of tons of carbon must be removed from the atmosphere annually by using nature or technology to meet global climate goals.Demand for credits has begun to increase from sectors as diverse as technology and finance, chemicals and aviation but it’s not yet large enough to drive the scale of projects that experts say are needed, the report by Oliver Wyman, the City of London Corporation and the UK Carbon Markets Forum said.Total sales of CO2 removals were estimated at $2.7 billion in 2023, the report said but could grow to as much as $100 billion a year by 2030-35.Barriers to growing the market include a lack of universally agreed standards on CO2 removal credits and a lack of guidance on how removals can be used to help meet climate targets.On current growth rates between 2020-2023, the market is expected to reach $10 billion a year by 2030-2035, the report said.To grow the market in Britain the government should include removals in its emissions trading system, set out a financial framework to support the market and endorse the use of removals within company net zero strategies, it said.Globally, $32 billion has been invested in carbon dioxide removal projects to date, with $21 billion of this in engineered solutions, such as direct air capture (DAC) projects which suck CO2 from the atmosphere and $11 billion in nature-based solutions such as planting trees, the report said.Critics of using carbon removals warn focusing too much on their use could deter companies from reducing their emissions as much as possible.

June 28, 2024 16:13 UTC


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