कोरोना वायरस (कोविड-19) संकट में अखबार अपने पाठकों के लिए प्रतिबद्ध हैं। अखबारों के जरिए कोरोना वायरस (कोविड-19) नहीं फैलता। WHO गाइडलाइंस के मुताबिक, अखबार जैसी चीजें लेना सुरक्षित है। मॉर्डन प्रिंटिंग तकनीक पूरी तरह ऑटोमेटेड है। व्यावसायिक सामान के दूषित होने की संभावना कम है। इसमें हाथों का इस्तेमाल नहीं होता। अखबार बांटने वाली हॉकर सप्लाई चेन पूरी तरह सैनिटाइज्ड होती है।आपको सर्दी-खांसी या कोरोना वायरस? ऐसे पहचानें, देखें ख़बरों का पंचनामा अनुराग वर्मा के साथखांसी, जुकाम या बुखार जो सर्दियों के मौसम में सामान्य लगता था अब लोगों के हाथ-पांव फुला रहा है। वजह है कोरोना वायरस। इस जानलेवा वायरस के लक्षण इन्हीं सामान्य रोगों जैसे होते हैं, इसलिए लोग कुछ समझ नहीं पाते। ऐसे में सब खौफ में जी रहे हैं कि कहीं उन्हें या उनके बगल में तेजी से छींक रहा शख्स कोरोना की चपेट में तो नहीं है। अगर आप भी इसी डर से दो चार हो रहे हैं तो आज जान लीजिए कि कोरोना और सामान्य खांसी-जुकाम में क्या फर्क है! देखें Khabron Ka Punchnama Anurag Varma के साथ...
Source: Navbharat Times March 29, 2020 04:52 UTC