युजवेंद्र चहल को एक साथ 2 खतरनाक बीमारी, कमजोरी से ढह गया शरीर, 10 लक्षण दिखते ही आप भी भागें अस्पताल - News Summed Up

युजवेंद्र चहल को एक साथ 2 खतरनाक बीमारी, कमजोरी से ढह गया शरीर, 10 लक्षण दिखते ही आप भी भागें अस्पताल


डेंगू और चिकनगुनिया से बचाव के लिए मच्छरों से बचना सबसे जरूरी है। सुबह और शाम बाहर निकलते समय मच्छर भगाने वाली क्रीम लगाएं, घर में मच्छरदानी का इस्तेमाल करें और आसपास कहीं भी पानी जमा न होने दें। कूलर, गमले, टायर, बाल्टी और पानी की टंकियों को नियमित रूप से साफ करें।डेंगू से ठीक होने में आमतौर पर 1 से 2 हफ्ते लगते हैं लेकिन कुछ लोगों में कमजोरी लंबे समय तक रह सकती है। इस दौरान आराम, ज्यादा तरल पदार्थ पीना और प्लेटलेट्स पर नजर रखना जरूरी होता है। चिकनगुनिया में बुखार एक हफ्ते में उतर जाता है, लेकिन जोड़ों का दर्द लंबे समय तक रह सकता है। इसके लिए फिजियोथेरेपी, हल्की एक्सरसाइज, पूरा आराम और डॉक्टर की सलाह से दवाएं लेनी चाहिए।डेंगू के मरीजों में कुछ लक्षण दिखते ही देर नहीं करनी चाहिए और तुरंत डॉक्टर या अस्पताल से संपर्क करना चाहिए। अगर पेट में तेज दर्द हो या बार-बार उल्टी हो रही हो, नाक या मसूड़ों से खून आने लगे, उल्टी या मल में खून दिखाई दे, सांस लेने में परेशानी हो, या मरीज बहुत ज्यादा सुस्त, कमजोर या बेचैन महसूस करे, तो यह गंभीर स्थिति का संकेत हो सकता है और तुरंत मेडिकल मदद जरूरी होती है।आपको पता होना चाहिए कि किसी इंसान को एक साथ यह दोनों बीमारियां हो सकती हैं। इसकी वजह यह है कि दोनों बीमारियां एक ही मच्छर से फैलती हैं और एक ही मौसम में ज्यादा होती हैं, इसलिए किसी व्यक्ति को एक साथ डेंगू और चिकनगुनिया होना संभव है।चिकनगुनिया भी एक वायरल बीमारी है, जो उसी एडीज मच्छर से फैलती है। इसमें अचानक तेज बुखार आता है और जोड़ों में बहुत तेज दर्द और सूजन हो जाती है, खासकर हाथ, कलाई, टखनों और पैरों में। मच्छर के काटने के 3 से 7 दिन के भीतर इसके लक्षण दिखने लगते हैं। कई लोग एक हफ्ते में ठीक हो जाते हैं, लेकिन जोड़ों का दर्द महीनों या सालों तक बना रह सकता है।डेंगू तब फैलता है जब कोई मच्छर पहले से संक्रमित इंसान को काटता है और फिर किसी स्वस्थ व्यक्ति को काट लेता है। एक बार संक्रमित होने के बाद मच्छर अपने पूरे जीवन में वायरस फैला सकता है। गंदगी, भीड़भाड़ वाले इलाके और जहां पानी जमा रहता है, वहां डेंगू का खतरा ज्यादा होता है। जिन लोगों को पहले डेंगू हो चुका होता है, अगर उन्हें दोबारा किसी दूसरे स्ट्रेन से संक्रमण होता है, तो उनमें गंभीर डेंगू का खतरा ज्यादा रहता है।


Source: Navbharat Times December 20, 2025 13:49 UTC



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