सांकेतिक चित्रराजस्थान की राजधानी जयपुर के एक जूनियर रेजिडेंट ने बुधवार सुबह फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। मृत छात्रा के परिजनों का आरोप है कि उसे काफी वक्त से कॉलेज के सीनियरों द्वारा परेशान किया जा रहा था, जिससे तंग आकर ही छात्रा ने खुदकुशी जैसा कदम उठाया। हालांकि आत्महत्या की वारदात के बाद जांच कर रही पुलिस को अब तक कोई सूइसाइड नोट नहीं मिला है। पुलिस के मुताबिक, पंजाब की निवासी उक्त छात्रा यहां पर प्रसूतिशास्त्र में पोस्ट ग्रैजुएशन करने के लिए आई थी, और उसने बीती 8 मई को यहां के जनाना अस्पताल में प्रवेश लिया था।घटना के बाद मृत छात्रा साक्षी गुप्ता (25) के परिवार के लोग बुधवार दोपहर जयपुर पहुंचे, जहां साक्षी के पिता ने आरोप लगाया कि उनकी बेटी को कॉलेज के कुछ सीनियर्स अक्सर परेशान किया करते थे। साक्षी के पिता सुमेश गुप्ता ने कहा,'मेरी बेटी ने दो महीने पहले ही यहां पर ऐडमिशन लिया था, हर रोज वह बताती थी कि किस तरह उसके सीनियर्स उसे परेशान करते हैं। कई बार वह सबके सामने उसका मजाक बनाते थे और उसे खाना खाने के लिए वक्त भी नहीं दिया जाता था।' साक्षी के पिता ने यह आरोप भी लगाया कि सीनियर्स उनकी बेटी की क्लास के अन्य स्टूडेंट्स के साथ भी दुर्व्यवहार करते थे।पुलिस के मुताबिक, साक्षी ने मंगलवार रात अपने घर वालों से बात करते हुए कहा था कि वह बुधवार को कॉलेज नहीं जाएंगी। जब परिवार के लोगों ने इसका कारण पूछा तो साक्षी ने कहा कि उनकी तबियत ठीक नहीं है। बुधवार सुबह जब कुछ क्लासमेट साक्षी से मिलने पहुंचे तो काफी देर तक रूम का दरवाजा नहीं खुला। इसपर क्लास के लोगों ने दरवाजे को तोड़ दिया, जिसके बाद साक्षी का शव कमरे में लगे सीलिंग फैन से लटकता मिला।इसके बाद पुलिस को इस मामले की जानकारी दी गई। पुलिस के मुताबिक परिवार की शिकायत के बाद इस घटना के संबंध में डॉ. त्रिपाल, डॉ. कविता के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 306 (आत्महत्या के लिए उकसाना) के तहत मामला दर्ज किया गया है। पुलिस का कहना है कि वारदात की सच्चाई और आत्महत्या की वजह का पता लगाने के लिए जांच की जा रही है, इसके अलावा साक्षी के मोबाइल फोन रिकॉर्ड्स को भी खंगाला जा रहा है जिससे कि कोई सबूत हाथ लग सके।
Source: Navbharat Times July 18, 2019 05:48 UTC