देहरादून, ब्यूरो: राजधानी दून में जब पाइप्ड नेचुरल गैस (पीएनजी) को लॉन्च किया गया, तो दावे किए गए थे कि ये रसोई गैस सिलेंडर (एलपीजी) के मुकाबले 30 से 40 परसेंट तक सस्ती पड़ेगी, लेकिन ट्रायल के तौर पर जिन क्षेत्रों में पीएनजी शुरू की गई है वहां गैस महंगी ही नहीं मिल रही, बल्कि इसमें कई खामियां भी उजागर हुई हैं। कुछ कंज्यूमर्स ने अनुभव शेयर करते हुए बताया कि जहां उनका 800 रुपए का एलपीजी सिलेंडर 35 से 40 दिन चलता था उतनी ही अवधि का उन्हें पीएनजी का 1000 से 1200 रुपए तक भुगतान करना पड़ रहा है। बताया कि इस हिसाब से पीएनजी से उनकी जेब को औसतन 300 से 400 रुपए मंथली की चपत लग रही है। कहा कि 40 परसेंट तक सस्ती के बजाय उन्हें पीएनजी 40 परसेंट अधिक महंगी पड़ रही है। ऐसे ही अन्य यूजर्स ने भी अपने अनुभव बताए। इसके अलावा कई कंज्यूमर्स ने नए कनेक्शन व बिलों को लेकर भी खामियां उजागर की।5 साल बाद भी सप्लाई नहींदून में जिन इलाकों में पीएनजी को ट्रायल के तौर पर पीएनजी को लॉन्च किया गया है उनमें सरस्वती विहार भी शामिल है। इस क्षेत्र में 2020 में कोरोना महामारी से पहले घरों में पीएनजी के कनेक्शन जोड़ दिए गए थे, लेकिन पांच साल बाद भी क्षेत्र के अधिकांश घरों में सप्लाई शुरू नहीं हो पाई है। अलबत्ता जिन घरों में सप्लाई शुरू की गई है वहां एक साल से बिल ही सर्कुलेट नहीं हुए हैं। कंज्यूमर्स का आरोप है कि उन्हें पीएनजी, सिलेंडर के मुकाबले महंगी उपलब्ध कराई जा रही है। इस बात को जब हमारी टीम ने इन्वेस्टीगेट किया गया तो पता चला कि लोग पीएनजी की सप्लाई शुरू करने की लगातार मांग करते आ रहे हैं। आलम यह है कि कनेक्शन जोड़ने के वर्षों बाद भी सप्लाई शुरू नहीं हो पाई। इस बारे में जब गेल इंडिया लिमिटेड के अफसरों से मोबाइल से बात करने की कोशिश की गई, तो किसी ने फोन रिसीव नहीं किया। अलबत्ता चीफ मैनेजर ने मैसेज में आई एम ऑन लीव लिखकर रिवर्ट किया। बात होने पर कंपनी का पक्ष प्रकाशित किया जाएगा।400 रुपये तक महंगी पीएनजीसरस्वती विहार निवासी गजेंद्र सिंह भंडारी ने बताया कि उन्हें एक साल पहले पीएनजी का जब कनेक्शन दिया गया था, तब ये बताया गया था कि पीएनजी रसोई गैस सिलेंडर के मुकाबले 40 परसेंट तक सस्ती मिलेगी, लेकिन अब तो बिल आ रहे हैं वे सिलेंडर के मुकाबले 400 रुपए तक अधिक का मिल रहा है। बताया कि उनहें वर्तमान में 45.64 प्रति यूनिट 1.50 नेटवर्क चार्ज के साथ बिल दिया जा रहा है। बिल में 5 परसेंट वैट भी जोड़ा जा रहा है। ये हमें एलपीजी सिलेंडर के मुकाबले 40 परसेंट तक अधिक महंगी उपलब्ध हो रही है। हमारा सिलेंडर करीब 35 से 40 दिन चलता है, अब इतनी अवधि के हमें 1 हजार से 1200 रुपए तक भुगतान करने पड़ रहे हैँ। बताएं कि ये कहां से सस्ती पड़ रही है। यही नहीं समय पर मीटर रीडिंग नहीं हो रही है। कई महीनों की रीडिंग लेकर बिल मौके पर देने के बजाय महीनों बाद व्हाट्सएप से भेजे जा रहे हैं। बिल के लिए भी कंपनी के चक्कर लगाने पड़ रहे हैंव्हाट्सएप से भेजे जा रहे बिलसरस्वती विहार के ही निवासी जयप्रकाश सेमवाल ने भी बताया कि पीएनजी कनेक्शन उन्हें 20 हजार रुपए तक पड़ रहा है। उनके अनुसार मेरे घर में तीन किराएदार हैं। ऐसे में उन्हें चार कनेक्शन लेना पड़ रहा है। जबकि घर एक ही है। एक कनेक्शन की कीमत करीब 5000 रुपए है, तो 4 कनेक्शन के 20 हजार देने पड़ रहे हैं। फिटिंग व अन्य खर्चे अलग हैं। इससे पैसे के साथ ही समय की बरबादी हो रही है। एक व्हाट्सएप पर एक ही बिल जनरेट हो रहा है। यदि घर में तीन-चार किराएदार हैं, तो तीन-चार व्हाट्सएप कहां से लाएं। किराएदार के नाम से कनेक्शन मिल नहीं रहा है। बिजली की तरह सब मीटर जैसी सुविधा न होने से लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।कंज्यूमर्स ने गिनाई खामियां- रसोई गैस सिलेंडर के मुकाबले 40 परसेंट तक महंगी हो रही उपलब्ध- 20 हजार रुपए तक करने पड़ रहे पीएनजी कनेक्शन पर खर्च- घर में किराएदार हैं, तो उनके लिए भी लेने पड़ रहे अलग कनेक्शन- एक कनेक्शन का खर्च है 5000 हजार रुपए- पीएनजी की 10 मीटर तक पाइपलाइन फिटिंग फ्री- बावजूद इसके फिटिंग के भी लिए जा रहे पूरे पैसे- 5 साल पहले जोड़े कनेक्शन, सप्लाई अभी तक नहीं- कई कंज्यूमर्स को एक साल से नहीं दिए गए बिल- बिल घर से रीडिंग लेने के बाद व्हट्सएप से भेजे जा रहेसुविधा के बजाए परेशानीपीएनजी आने से बार-बार सिलेंडर भरने की झंझट तो समाप्त हो गई, लेकिन ये सुविधा बहुत महंगी पड़ रही है। एलपीजी सिलेंडर के मुकाबले पीएनजी औसतन हर महीने 300 से लेकर 400 रुपए अधिक पड़ रही है। जबकि कंपनी ने दावे किए थे कि पीएनजी 40 परसेंट तक सस्ती मिलेगी।गजेंद्र सिंह भंडारी, सरस्वती विहारपीएनजी काफी महंगी साबित हो रही है। जिन घरों में 2-3 किराएदार हैं उन्हें कनेक्शन 15 से 20 हजार तक पड़ रहा है। यही नहीं एक कनेक्शन का बिल एक ही व्हट्सएप नंबर से जनरेट हो रहा है, तो चार कनेक्शन को चार-चार व्हट्सएप कहां से लाएं। ये बड़ी परेशानी का कारण बन रहा है।जयप्रकाश सेमवाल, सरस्वती विहारजब प्रोजेक्ट का लॉच किया गया था तो बताया कि पाइप्ड नेचुरल गैस पहुंचानी सरल है। इसमें लोडिंग-अनलोडिंग समेत अन्य खर्चे काफी कम हैं। जिस वजह से इसका 30 से 40 परसेंट सीधा फायदा कंज्यूमर्स को मिलेगा, लेकिन फिलहाल ये दावे धरातल पर नहीं दिख रहे हैं।dehradun@inext.co.in
Source: Dainik Jagran December 27, 2025 16:22 UTC