क्या है महामारी एक्ट, जिसे Corona से लड़ने के लिए इस्तेमाल कर रही है भारत सरकार - News Summed Up

क्या है महामारी एक्ट, जिसे Corona से लड़ने के लिए इस्तेमाल कर रही है भारत सरकार


What is Epidemic Act in India and coronavirus update: भारत में कोरोनावायरस से संक्रमित मरीजों की संख्या 111 पहुंच चुकी है। देश के 14 राज्यों में कोरोना के मरीज मिल चुके हैं। अब तक दो की मौत भी हो चुकी है। इन सब के बीच कोरोना पर काबू पाने के लिए भारत सरकार कई तरह के एहतियात बरत रही है। जगह-जगह क्वारंटाइन और आइसोलेशन कैंप्स (Quarantine and isolation camps in India) बन रहे हैं, लोगों की जांच हो रही है।इसके अलावा भारत सरकार ने देशभर में महामारी एक्ट (Epidemic Act) की मदद लेने का भी निर्देश जारी किया है। आधिकारिक जानकारी के अनुसार, कैबिनेट सेक्रेटरी राजीव गौबा की समीक्षा बैठक में ये फैसला लिया गया। इसके बाद केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सभी राज्यों व केंद्रशासित प्रदेशों को महामारी बीमारी कानून (Epidemic Disease Act, 1987) के सेक्शन 2 के प्रावधानों की मदद लेने के लिए कहा है। इस कानून के तहत उत्तर प्रदेश के आगरा में एक केस दर्ज भी किया जा चुका है।बताया गया - 'सबसे निर्दयी कानून' इंडियन जर्नल ऑफ मेडिकल एथिक्स ने 2009 के एक पेपर में इस कानून को 'उपनिवेशी भारत में स्वच्छता के लिए अपनाया गया सबसे निर्दयी कानून' बताया था। क्या है ये महामारी कानून, इसे कब, किसने और क्यों बनाया, इसके प्रावधान क्या हैं, महामारी कानून के सेक्शन 2 में क्या कहा गया है, इस कानून की खास बातें क्या हैं.. इन सभी सवालों के जवाब आपको आगे बताए जा रहे हैं।क्या है महामारी कानून? ये कानून आज से 123 साल पहले साल 1897 में बनाया गया था, जब भारत पर अंग्रेजों का शासन था। तब बॉम्बे में ब्यूबॉनिक प्लेग नामक महामारी फैली थी। जिस पर काबू पाने के उद्देश्य से अंग्रेजों ने ये कानून बनाया। महामारी वाली खतरनाक बीमारियों को फैलने से रोकने और इसकी बेहतर रोकथाम के लिए ये कानून बनाया गया था। इसके तहत तत्कालीन गवर्नर जेनरल ने स्थानीय अधिकारियों को कुछ विशेष अधिकार दिए थे।महामारी कानून की खास बातें ये कानून भारत के सबसे छोटे कानूनों में से एक है। इसमें सिर्फ चार सेक्शन बनाए गए हैं। पहले सेक्शन में कानून के शीर्षक और अन्य पहलुओं व शब्दावली को समझाया गया है। दूसरे सेक्शन में सभी विशेष अधिकारों का जिक्र किया गया है जो महामारी के समय में केंद्र व राज्य सरकारों को मिल जाते हैं। तीसरा सेक्शन कानून के प्रावधानों का उल्लंघन करने पर भारतीय दंड संहिता (IPC - Indian Penal Code) की धारा 188 के तहत मिलने वाले दंड/जुर्माने का जिक्र करता है। चौथा और आखिरी सेक्शन कानून के प्रावधानों का क्रियान्वयन करने वाले अधिकारियों को कानूनी संरक्षण देता है।क्या कहता है Epidemic Act Section 2 इसमें महामारी के दौरान सरकार को मिलने वाले विशेषाधिकारों का जिक्र किया गया है। इसके अनुसार, सरकार जरूरत महसूस होने पर अधिकारियों को सामान्य प्रावधानों से अलग अन्य जरूरी कदम उठाने के लिए कह सकती है। सरकार के पास रेलवे या अन्य साधनों से यात्रा कर रहे लोगों की जांच करने/करवाने का अधिकार है। जांच कर रहे अधिकारी को अगर किसी व्यक्ति के संक्रमित होने का शक भी होता है, तो वह उसे भीड़ से अलग किसी अस्पताल या अन्य व्यवस्था में रख सकता है। सरकार किसी बंदरगाह से आ रहे जहाज या अन्य चीजों की पूरी जांच कर सकती है, उसे डिटेन भी कर सकती है।


Source: Navbharat Times March 16, 2020 06:56 UTC



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