Dainik Bhaskar Apr 02, 2019, 07:13 PM ISTबॉलीवुड डेस्क. बॉलीवुड फिल्मों में ज्यादातर ओल्ड सुपरस्टार और यंग हीरोइन के बीच रोमांस दिखाया जाता है। ऐसा लगता है कि एक्ट्रेसेज का भी यही मानना है कि यह सोसाइटी का सबसे आसानी से स्वीकार किया जाने वाला कंसेप्ट है। यह बात उन्होंने फिल्म दे दे प्यार दे के ट्रेलर लॉन्च पर कही।तब्बू 47 साल की हैं और उन्हें लगता है कि फिल्में सोसाइटी का रिफ्लेक्शन होती है और सोसाइटी भी इस कंसेप्ट को एक्सेप्ट करती हैं।समाज से आता है कंटेन्ट : तब्बू कहती हैं - यह हमेशा से है और कोई बहुत बड़ी बात नहीं है। मुझे लगता है कि समाज में जो कुछ भी स्वीकार किया जाता है वह फिल्मों में रिफ्लैक्ट होगा। ओल्ड मैन और यंग वीमेन का कंसेप्ट दुनिया और समाज में अधिक स्वीकार किया जाता है इसलिए हम स्क्रीन पर अधिक देखते हैं। जिस सोसाइटी में हम रहते हैं वह सिनेमा में रिफलेक्ट होता है। सिनेमा आइसोलेशन में नहीं होता।अजय ने भी किया फेवर : अजय देवगन को भी लगता है कि यह कंसेप्ट अच्छा है। वे कहते हैं- यह कूल कंसेप्ट है। दरअसल यह बुरा नहीं है। जबकि एक्ट्रेसेज को लगता है कि बॉलीवुड में उनकी शेल्फ लाइफ होती है और जब उनकी उम्र बढ़ जाती है तो उन्हें अच्छे रोल मिलना मुश्किल हो जाता है। अजय का कहना है यह सोचना गलत है कि एक्ट्रेसेज की शेल्फ लाइफ होती है।बदला है परिदृश्य : अजय ने आगे बताया- आज की चीजें 10 साल पहले की तुलना में बदल गई हैं। आज फीमेल एक्टर्स की भी उतनी ही शेल्फ लाइफ है जितनी की मेल एक्टर्स की। आज के समय में ये सही नहीं है। आज दोनों में कोई फर्क नहीं है जबकि पहले ऐसा था। तब्बू, काजोल अभी भी काम कर रही हैं।
Source: Dainik Bhaskar April 02, 2019 13:25 UTC